पंं.श्याम.त्रिपाठी
नवाबगंज (गोंडा) अयोध्या बिना गोंडा के अधूरी है । प्राचीन काल में अधिकतर ऋषि मुनियों की जन्म, कर्म और तपोस्थली गोंडा ही रही है । तथा गोंडा ही भगवान राम के गायों की चरागाह रही है ।इसीलिए गोंडा को प्राचीन काल में गोनार्द कहा जाता था ।
उक्त बातें कैसरगंज से भाजपा सांसद बृजभूषण शरण सिंह ने कटरा कुटी धाम मंदिर पर मंदिर के नव निर्माण समिति की बैठक में मुख्य अतिथि के रुप में कही। उन्होंने कहा कि अयोध्या के उत्तर और पश्चिम सरयू नदी के किनारे बसा गोंडा में पहले घना जंगल हुआ करता था जहाँ ऋषियों की साधना में शांति मिलती थी । कटरा कुटी धाम मंदिर हनुमान जी का बिश्राम स्थल था। खंडहर हो चुके सिद्ध प्राचीन हनुमान मंदिर का पुनर्निर्माण जनसहयोग से कराने की जरूरत है। और इसके निर्माण में हर संभव मदद हमारे द्वारा की जायेगी ।
शुक्रवार को कटरा शिवदयालगंज में स्थित कटरा कुटी धाम मंदिर के पुनर्निर्माण के लिए मंदिर निर्माण समिति की एक बैठक की गई बैठक की अध्यक्षता करते हुए मंदिर के महंथ चिन्मयानंद जी महाराज ने कहा कि करीब दो सौ वर्ष पुराना यह मंदिर जीर्ण अवस्था में था इसके कभी भी गिर जाने की संभावना थी।इसलिए इस मंदिर के पुनर्निर्माण काराने का संकल्प लिया गया है। आगामी ग्यारह अप्रैल से मंदिर के पुनर्निर्माण का संकल्प लिया गया है। उनहोंने कहा कि इसी दिन सन् 1982 में हमारे पूज्य गुरु व सिद्ध संत सुंदर दास जी ने परलोक गमन किया था। यही दिन हमारे मंदिर निर्माण का शुभ मुहूर्त है।
बैठक का संचालन कर रहे भाजपा नेता चिंतामणि तिवारी ने कहा कि हर काम हनुमान जी के इच्छा से ही होता है।हनुमान जी की प्रेरणा से ही मंदिर के महंथ ने मंदिर के पुनर्निर्माण का संकल्प लिया है और हनुमान जी के भक्तों के सहयोग से यह काम पूरा हो जाएगा ।
बैठक में हिन्दू युवा वाहिनी के जिला अध्यक्ष शारदा कांत पांडेय,पूर्व ब्लॉक प्रमुख सुरेन्द्र सिंह, विनोद सिंह, पूर्व प्रधान देवी यादव, विनोद गुप्ता,अरुण सिंह विनोद सिंह विनोद गुप्ता सहित तमाम लोग मौजूद रहे।